नेहा राठौर
बैसाखी जैसे शुभ अवसर पर भारतीय सिख तीर्थयात्रियों के लिए एक बड़ी खबर सामने आई है। इस त्योहार के मौके पर भारतीय सिख तीर्थयात्रियों के एक जत्थे को पाकिस्तान जाने की इजाज़त मिल गई है। इस जत्थे में करीबन 437 लोग शामिल हैं। बता दें कि यह जत्था पाकिस्तान के अलग-अलग सिख तीर्थ स्थलों पर जाएगा, जिसमें ननकाना साहिब भी शामिल है। इसकी मंजूरी पाकिस्तान की ओर से मिल चुकी है।
पाकिस्तान जाने से पहले सभी यात्रियों का कोरोना टेस्ट किया गया है। इस टेस्ट में सभी यात्रियों का रिपोर्ट नेगेटिव आई है। इस यात्रा के लिए सभी यात्री पाकिस्तान सोमवार को रवाना होंगे और 22 अप्रैल तक वतन वापसी करेंगे।
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शिरोमणि गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी यानी एसजीपीसी के सेक्रेटरी मोहिंदर सिंह आहिल ने इस बात की जानकारी देते हुए बताया कि कल यानी बैसाखी के मौके पर पाकिस्तान में जो गुरुद्वारे हैं उनके दर्शन के लिए श्रद्धालुओं का जत्था वहां जा रहा है जो की 22 अप्रैल तक लौट आएगा।
आपको बता दें कि शिरोमणि गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी द्वारा यात्रा पर जाने वाले यात्रियों की लिस्ट भेजी थी जिसमें से केंद्र सरकार ने कुछ यात्रियों के नाम भी हटाये थे। यह जत्था कल एसजीपीसी कार्यालय अमृतसर से रवाना होगा। यह जत्था पैदल वाघा बॉर्डर होते हुए पाकिस्तान जाएगा। जाने वाले यात्रियों के लिए गृह मंत्रालय ने कई दिशा-निर्देश भी जारी किये हैं। जिनके मुताबिक जत्थे का कोई भी सदस्य पाकिस्तान में किसी का विशेष आतिथ्य स्वीकार नहीं करेगा।
बॉर्डर पार करते ही सबसे पहले श्रद्धालु गुरुद्वारा श्री पंजा साहिब के लिए जाएगें। वह अलग-अलग दिन गुरुद्वारों का दर्शन करते हुए 20 अप्रैल को श्री गुरुद्वारा रोढ़ी साहिब के दर्शन करके लाहौर वापस आएंगे। वह इस दौरान लाहौर में गुरुद्वारा श्री डेरा साहिब में ठहरेंगे और 22 अप्रैल को वाघा बॉर्डर के रास्ते वापस भारत लौटेंगे।
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