रेलयात्रा के समय पर्यावरण अनुकूल थाली में परोसा जायगा भोजन
– ऋषभ दुआ और पीयूष खुल्लर
विश्व पर्यावरण दिवस पर भारतीय रेलवे खानपान एवं पर्यटन निगम (आइआरसीटीसी) ने प्लास्टिक से होने वाले प्रदूषण को कम करने के लिए महत्वपूर्ण कदम उठाया हैं। उन्होंने सफर के दौरान रेल यात्रियों को प्राकृतिक रूप से नष्ट होने वाली थाली, प्लेट व कंटेनर में ही खाद्य पदार्थ परोसने का फैसला किया हैं।
दरअसल, ट्रेनों में यात्रियों को प्लास्टिक के बने प्लेट व कंटेनर में खाने-पीने के सामान दिए जाते हैं। प्रयोग करने के बाद ये नष्ट नहीं होते हैं जिससे प्रदूषण फैलता है। इस समस्या से निपटने के लिए भारतीय रेलवे ने पहल की है। प्रथम चरण में मंगलवार से दिल्ली से चलने वाली चार राजधानी व चार शताब्दी ट्रेनों में इसकी शुरुआत की गई है। दिल्ली से चलने वाली मुंबई राजधानी, अहमदाबाद राजधानी, अगस्त क्रांति राजधानी और हावड़ा राजधानी के साथ ही भोपाल शताब्दी, देहरादून शताब्दी, अमृतसर शताब्दी व लखनऊ शताब्दी में इसकी शुरुआत हुई है। आने वाले समय में अन्य ट्रेनों में भी इसे लागू किया जाएगा।
रेल मंत्री पीयूष गोयल ने ट्वीट कर प्राकृतिक रूप से नष्ट होने वाली थाली व प्लेट की तस्वीरें शेयर की और लिखा कि विश्व पर्यावरण दिवस के मौके पर धरती को हरा-भरा रखने और प्लास्टिक से होने वाले प्रदूषण को कम करने के लिए भारतीय रेलवे का छोटा सा कदम। आइआरसीटीसी का कहना है कि आने वाले महीनों में सभी राजधानी, शताब्दी व दूरंतो ट्रेनों में यह सुविधा उपलब्ध कराई जाएगी। अधिकारियों ने बताया कि गन्ने के अवशेष से इन्हें तैयार किया गया है। प्रयोग के बाद इन्हें प्राकृतिक रूप से नष्ट किया जाएगा। इससे प्रदूषण को कम करने में मदद मिलेगी।
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