चंडीगढ। पंचकूला म्युनिसिपल कोरपोरेशन के चुनाव की सरगर्मी बढ रही है। 27 दिसंबर को हो रहे चुनाव में कांग्रेस और भाजपा के उम्मीदवारों के बीच मुख्य मुकाबला है। पंचकूला में कुल 20 वार्ड हैं जिनमे प्रत्याशियों ने अपनी अपनी जीत के लिए दम और दांवपेंच लगाने शुरू कर दिए हैं।
भाजपा का दावा है कि चुनाव में सभी 20 वार्डों पर उनके प्रत्याशी जीतेंगे और मेयर उन्हीं का बनेगा। पार्टी अपना विकास का एजेंडा आगे बढाएगी।
इधर कांग्रेस के मेयर पद के दावेदार रविकांत स्वामी ने कहा है कि जीत कांग्रेस की होगी और मेयर उनका बनेगा। किसान आंदोलन को देखते हुए जनता भाजपा से नाराज है और वह भाजपा के खिलाफ वोट करेंगी।
रविकांत स्वामी ने कहा कि वह शहर की समस्याओं से पूरी तरह वाकिफ हैं। मेयर बनने पर वह बरसात के पानी के सदुपयोग के उपाय करेंगे। सुरक्षा के लिए गेट लगवाएंगे, गलियों, सड़कों और पार्कों में एलईडी लाइटें और झूले लगवाए जाएंगे। आम जनता की रोजमर्रा की समस्याओं और जरूरतों का पूरा ख्याल रखा जाएगा।
उन्होंने कहा कि कहा कि वह नगर की समस्याओं को समझते हैं और उनका समाधान करेंगे।
मालूम हो कि पंचकूला नगर परिषद के पिछले चुनाव जुलाई 2013 में हुए थे जिसका कार्यकाल 2018 मे खत्म हो गया। तब से निगम का कामकाज प्रशासक के जिम्मे था।अब चुनाव की अधिसूचना 4 दिसंबर को जारी होने के बाद 11 से 16 दिसंबर तक नामांकन भरे गए और 18 दिसंबर को स्क्रूटनी के बाद प्रत्याशियों ने अपने अपने पक्ष मे प्रचार अभियान शुरू कर दिया है।
चुनाव का नतीजा 30 दिसंबर को घोषित किया जाएगा यानी पंचकूला शहर को ढाई साल बाद नए साल पर नया मेयर मिल जाएगा।
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