प्रदेश

‘सीक्रेट मीटिंग’ करके मांझी ने चला एक और दांव

By अपनी पत्रिका

January 12, 2015

पटना  बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री नीतीश कुमार भले इनकार करें लेकिन यह साफ हो चुका है कि उनके और मुख्यमंत्री जीतन राम मांझी के बीच रिश्ते पहले जैसे नहीं हैं। राजनीतिक हलकों में तेजी से बदलते घटनाक्रम के बीच रविवार को जीतन राम राम मांझी अपने गोपनीय अजेंडे पर थे। उन्होंने छुट्टी के दिन प्रदेश के अनुसूचित जाति-जनजाति अधिकारियों के साथ बैठक करके दलितों-महादलितों के बीच साफ संदेश दे दिया है। दूसरी तरफ नीतीश कुमार ने जीतन राम मांझी को हटाए जाने के कयास को एक बार फिर खारिज कर दिया। दिल्ली से लौटने पर रविवार को पटना एयरपोर्ट पर नीतीश ने कहा, ‘मुख्यमंत्री को हटाए जाने को लेकर कयासबाजी अनावश्यक है। न जाने क्यों और कहां से यह बात उड़ी है, मुझे नहीं मालूम। दिल्ली में इस विषय पर न चर्चा हुई और न ही इसकी आवश्यकता थी। मैंने दिल्ली जाते वक्त भी कहा था कि बिहार के मसले के लिए दिल्ली में विमर्श की जरूरत नहीं है।’ उन्होंने कहा, ‘विलय को लेकर दिल्ली में अच्छी और कई दौर की बैठक हुई है। प्रक्रिया को हम आगे बढ़ाने में लगे हैं। थोड़ा वक्त लगता है।’ नीतीश ने बताया कि 17 जनवरी से उनकी संपर्क रैली का कार्यक्रम फिलहाल स्थगित हो गया है।