दिल्ली में फिर से डेंगू का कहर

कोरोना और मंकीपॉक्स के साथ इस बार दिल्ली वालों पर डेंगू भी कहर ढा रहा है। आए दिन देश की राजधानी में डेंगू के मामले सामने आ रहे हैं। मौसम में बदलाव के साथ ही डेंगू का प्रकोप बढ़ने लगा है. मौसमी बीमारियों और डेंगू के बीच अंतर कर पाना काफी मुश्किल होता है। कई बार ये भूल सेहत के लिए खतरनाक हो जाता है. आजकल बिना लक्षण के भी डेंगू होने का खतरा बढ़ गया है।

सरकार लोगों से अपील कर रही है कि वह अपने आस पास साफ सफाई रखें ताकि डेंगू वाले मच्छर ना पनपें और लोग डेंगू जैसी खतरनाक बीमारी से बचे रहें। लेकिन उसके बावजूद मामले थमने का नाम नहीं ले रहे हैं।

दिल्ली नगर निगम द्वारा को जारी एक रिपोर्ट की माने तो पिछले सप्ताह में डेंगू के 412 मामले आएं हैं जो सितंबर माह के 693 के मुकाबले काफी ज्यादा हैं। हालांकि इस साल अब तक मच्छर जनित बीमारियों के कारण किसी की मौत की खबर नहीं है। नगर निगम कई विभागों के साथ मिलकर डेंगू से निबटने का उपाय कर रहा है। जन जागरूकता अभियान और कानूनी कार्रवाई के साथ दिल्ली जल बोर्ड, सिंचाई, बाढ़ नियंत्रण विभाग, लोक निर्माण विभाग , केंद्रीय लोक निर्माण विभाग, रेलवे, बागवानी, दिल्ली मेट्रो रेल निगम, दिल्ली विकास प्राधिकरण, भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण, पुलिस, शिक्षा, अन्य विभागों के बीच अंतर-क्षेत्रीय विभागों की भागीदारी सुनिश्चित कर रहा है ताकि इसपर नियंत्रण पाया जा सके।

इस संबंध में निगम ने 77,538 कानूनी नोटिस जारी किए हैं और 26,320 अभियोग दायर किए हैं। घरों या इमारतों के 10,438 मालिकों पर प्रशासनिक शुल्क लगाया गया है और 23,28,700 रुपये प्रशासनिक शुल्क के रूप में वसूल किए गए हैं। साथ ही डेंगू ब्रीडिंग चेकिंग स्टाफ ने 2,24,94,105 घरों का दौरा किया और 96,982 घरों में मच्छरों का प्रजनन पाया गया। लगभग 8,28,707 घरों में कीटनाशक का छिड़काव किया गया और 112 बिंदुओं पर लार्वा पाया गया।

एशियाई और लैटिन अमेरिकी देशों में मरीजों की मौत की एक बड़ी वजह डेंगू ही है। गंभीर मामलों में डेंगू की वजह से मरीज में बहुत ज़्यादा रक्तस्राव, ब्लड प्रेशर में अचानक उतार-चढ़ाव होने जैसी में समस्या भी हो सकती है। अगर सही समय पर डेंगू का इलाज किया जाए तो मरीज को बचाया जा सकता है। 

बीते दिनों में डेंगू के मामले लगातार बढ़ने से, लोगों को इससे बचने के तरीके अपनाना बेहद ज़रूरी है। मच्छरों से दूरी बनाकर रखें, लंबी बाह के कपड़े पहनें, अपने घर के अंदर और बाहर दवाइयों का छिड़काव करें और पानी जमा होने से रोकें। छोटे-छोटे तरीके अपनाने से डेंगू से बचा जा सकता है। सबसे खास बात सही पर इलाज कराना बेहद ज़रूरी है.

डेंगू के संकेत

-कई बार लोग डेंगू को वायरल फीवर समझ लेते हैं और उसी के अनुसार इलाज करने लगते हैं। ऐसी भूल करने से बचना चाहिए।

-डेंगू और वायरल फीवर के कई लक्षण बिल्कुल एक जैसे ही होते हैं. जैसे- सर्दी होना, खांसी की दिक्कत, सिरदर्द से परेशानी, शरीर में दर्द होना, और बुखार आना।

 – अक्सर डेंगू का संक्रमण बिना किसी लक्षण के भी शिकार बना सकता है।

डेंगू के शिकार हुए मरीजों के शरीर पर खून के थक्के जैसे चकत्ते बन जाते हैं.

वायरल फीवर में शरीर का तापमान 101 डिग्री फारेनहाइट के बीच रहता है, जबकि डेंगू से मरीजों में बुखार 103 से104 डिग्री फारेनहाइट तक रहता है.

डेंगू के मरीज को करीब 3-4 दिनों से फीवर बना रह सकता है और दवा देने के बाद भी ठीक नहीं होता। ऐसे में डॉक्टर से मिलना चाहिए।

– हर किसी की सलाह लेने की बजाय आपको डॉक्टर से मिलना चाहिए ताकि सही ट्रीटमेंट हो सके।

Comments are closed.

|

Keyword Related


prediksi sgp link slot gacor thailand buku mimpi live draw sgp https://assembly.p1.gov.np/book/livehk.php/ buku mimpi http://web.ecologia.unam.mx/calendario/btr.php/ togel macau http://bit.ly/3m4e0MT Situs Judi Togel Terpercaya dan Terbesar Deposit Via Dana live draw taiwan situs togel terpercaya Situs Togel Terpercaya Situs Togel Terpercaya slot gar maxwin Situs Togel Terpercaya Situs Togel Terpercaya Slot server luar slot server luar2 slot server luar3 slot depo 5k togel online terpercaya bandar togel tepercaya Situs Toto buku mimpi