आज आम आदमी पार्टी के कापसहेडा स्थित कार्यालय मेें राष्ट्रीय कार्यकारणी की एक बैठक हुई जिसमे योगेन्द्र यादव , आनद कुमार , प्रशांत भूषण व अनिल झा को पार्टी से बाहर का रास्ता दिखाने का प्रस्ताव पारित कर दिया गया । उन्हें निकालने के लिये लगभग दो सौ वोट पडे। निकाले गये लोगों ने आरोप लगाया कि 167 वोट पहले से ही डाले जा चुके थे और यह वह लोग है जो केजरीवाल गुट द्वारा जबरन पार्टी पर प्रत्यारोपित किये गये थे।
आज सुबह जब कार्यकारणी की बैठक शुरू हुई तो पहले ही योगेन्द्र यादव से धक्का मुक्की कर यह स्क्रिट कैसी होगी इस बात का संकेत दे दिया गया । इसके बाद अंदर जब केजरीवाल अपना अध्यक्षीय भाषण दे रहे थे तो उन्होनें कहा कि चारों लोगों के खिलाफ क्या करना है यह आप जाने ,इसके बाद वह अपना दायित्व गोपाल राय को सौंप कर चले गये।उसके बाद आरोपित लोगों को न तो बोलने दिया गया और न ही उनकी कोई बात सुनी गयी। आंमत्रित लोगों ने दबाब बनाकर जबरन आरोपियों को बाहर का रास्ता दिखा दिया।
सम्पूर्ण बैठक पर नजर डाली जाय तो पूरे कार्यकारणी में लगभग दो सौ सदस्य है। जिसमें से शाजिया इल्मी, मेधा पाटकर जैसे पैंतालिस लोग छोडकर चले गये।दूर के लगभग पचास के आसपास सदस्य नही आ सके । यह कहा जा सकता है कि इस बैठक में सिर्फ सौ लोग ही होने थे लेकिन दो सौ लोगों को क्यों बुलाया गया इस पर सभी चैनलों का बाजार गर्म है।आरोपित लोगो ंकी माने तो अंदर बैठक में लात धूंसे भी चले और वह उन लोगों ने किये जिन्हें जनता ने चुनकर विधायक बनाया है। इसके अलावा एक मामला यह भी है कि अब तक जो नवीन जयहिंद योगेन्द्र को लेकर दबाब बना रहे थे और अपशब्द बोल रहे थे वह इतनी भारी संख्या में लोगों को रोहतक से लेकर क्यों आये थे जिसमें से काफी लोगोंने माहौल को गरमाया। क्या यह सोची समझी रणनीति थी।
फिलहाल मामला अब साफ हो गया कि योगेन्द्र ,प्रशांत , आनंद व अनिल झा की पार्टी की राष्ट्रीय कार्यकारणी से छुटटी हो गयी है।